500 शब्दों में लिखें मशहूर बिजनेसमैन मार्क मोबियस ने हाल ही में भारत की आर्थिक स्थिति पर अपनी राय सामने रखी है। उन्होंने एक प्राइवेट एजेंसी से बातचीत में कहा कि भारत का उभरता हुआ बाजार बना है और चीन भारत की वृद्धि को मात नहीं दे सकता है। मोबियस ने अपने वेस्ट इनिंग पोर्टफोलियो का भारत में लगभग 20% हिस्सा लिया है, जो बताता है कि उन्हें भारत की लंबी अवधि की विकास क्षमता पर पूरा भरोसा है।
मोबियस ने कहा कि अमेरिकी कंपनियों ने भारत की घरेलू मांग, सरकारी सुधार और उद्यम के उद्यमों को अन्य उभरते उद्यमों से आगे रखा है। उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति द्वारा प्रस्तावित औषधि, रत्न और जीप जैसे सेक्टरों पर 50 प्रतिशत टैरिफ का प्रभाव पड़ सकता है, लेकिन भारतीय व्यवसाय नवीनता और उद्यम के माध्यम से अन्य उद्योग, अफ्रीका जैसे अपने क्षेत्र को स्थानांतरित करने में सक्षम है।
विकास दर पर टैरिफ का असर मोबियस ने कहा कि वृद्धि में केवल 0.5-0.75% की गिरावट का अनुमान लगाया जा सकता है। इसके बाद भी भारत का घरेलू बाजार बड़ा और तेजी से बढ़ रहा है। अगर विकास दर 6% से कम 5.5% भी रह जाए, तो यह उद्योग के लिए चिंता का विषय नहीं है।
भारत की अपनी चुनावी ऊर्जा के मुद्दे पर मोबियस का कहना है कि अमेरिका को भारत से तेल खरीदने के लिए अलग-अलग रणनीति नहीं बनानी चाहिए, क्योंकि चीन भी अपनी तेल खरीद कर रहा है। इसके अलावा, फ़्लोरिड्स को पार्टिसिपेंट्स के लिए सकारात्मक सुझाव और सलाह दी गई कि सरकारी सहायता कार्यक्रमों से कॉमनवेल्थ कंपनियों को राहत मिल सकती है।
कुछ पुराने में मजबूत होगी भारत की इंडस्ट्री
मोबियस ने स्पष्ट किया कि भारत का बाजार तेजी से बढ़ रहा है और ख्यात सरकार के साथ एकांत के बाद यह स्थिति स्थिर रूप से सामान्य हो जाएगी। उनके अनुसार, भारतीय चरित्र चित्रण से आरंभ में सक्षम हैं और देश की अर्थव्यवस्था आने वाले सागर में भी मजबूत प्रदर्शन करते हैं।